अ मोनोग्राफ़ ऑन गोल्ड एंड सिल्वर वर्क इन द बंगालप्रेसीडेंसी
Author: मूकर्जी, डी.एन.
Keywords: भारत में सोने और चाँदी की कारीगरी, ब्रिटिश भारत की अमूर्त सांस्कृतिक विरासत, ब्रिटिश भारत के सुनार
Publisher: बंगाल सचिवालय पुस्तक डिपो, कलकत्ता
Description: डी एन मूकर्जी द्वारा लिखित यह पुस्तक बंगाल प्रेसीडेंसी में सोने और चाँदी की कारीगरी पर एक विनिबंध प्रस्तुत करती है। विनिबंध में सात अध्याय हैं जिनमें मुख्य रूप से सोने और चाँदी की उपलब्धता में भारत की समृद्धि के साथ-साथ लोगों के साथ इसकी ऐतिहासिक संबद्धता का वर्णन शामिल है। लेखक ने अतुलनीय रूप से विशिष्ट सोने और चाँदी के आभूषण बनाने की परंपरा, इसके उत्पादन के विभिन्न चरणों, सुनारों और उनकी कारीगरी, प्रांत में कला की वर्तमान स्थिति, साथ ही साथ ब्रिटिश शासन के प्रभाव पर भी अध्यायों को सम्मिलित किया है। कला परंपरा का स्पष्ट प्रतिबिंब पेश करने के लिए पुस्तक में कई छायाचित्रों और चित्रों का उपयोग किया गया है।
Source: केंद्रीय सचिवालय ग्रंथागार
Type: दुर्लभ पुस्तक
Received From: केंद्रीय सचिवालय ग्रंथागार
| DC Field | Value |
| dc.contributor.author | मूकर्जी, डी.एन. |
| dc.date.accessioned | 2019-02-23T15:10:10Z |
| dc.date.available | 2019-02-23T15:10:10Z |
| dc.description | डी एन मूकर्जी द्वारा लिखित यह पुस्तक बंगाल प्रेसीडेंसी में सोने और चाँदी की कारीगरी पर एक विनिबंध प्रस्तुत करती है। विनिबंध में सात अध्याय हैं जिनमें मुख्य रूप से सोने और चाँदी की उपलब्धता में भारत की समृद्धि के साथ-साथ लोगों के साथ इसकी ऐतिहासिक संबद्धता का वर्णन शामिल है। लेखक ने अतुलनीय रूप से विशिष्ट सोने और चाँदी के आभूषण बनाने की परंपरा, इसके उत्पादन के विभिन्न चरणों, सुनारों और उनकी कारीगरी, प्रांत में कला की वर्तमान स्थिति, साथ ही साथ ब्रिटिश शासन के प्रभाव पर भी अध्यायों को सम्मिलित किया है। कला परंपरा का स्पष्ट प्रतिबिंब पेश करने के लिए पुस्तक में कई छायाचित्रों और चित्रों का उपयोग किया गया है। |
| dc.source | केंद्रीय सचिवालय ग्रंथागार |
| dc.format.extent | [ca. 20 p.] |
| dc.format.mimetype | Application/pdf |
| dc.language.iso | अंग्रेज़ी |
| dc.publisher | बंगाल सचिवालय पुस्तक डिपो, कलकत्ता |
| dc.subject | भारत में सोने और चाँदी की कारीगरी, ब्रिटिश भारत की अमूर्त सांस्कृतिक विरासत, ब्रिटिश भारत के सुनार |
| dc.type | दुर्लभ पुस्तक |
| dc.date.copyright | 1905 |
| dc.identifier.accessionnumber | AS-002126 |
| dc.format.medium | text |
| DC Field | Value |
| dc.contributor.author | मूकर्जी, डी.एन. |
| dc.date.accessioned | 2019-02-23T15:10:10Z |
| dc.date.available | 2019-02-23T15:10:10Z |
| dc.description | डी एन मूकर्जी द्वारा लिखित यह पुस्तक बंगाल प्रेसीडेंसी में सोने और चाँदी की कारीगरी पर एक विनिबंध प्रस्तुत करती है। विनिबंध में सात अध्याय हैं जिनमें मुख्य रूप से सोने और चाँदी की उपलब्धता में भारत की समृद्धि के साथ-साथ लोगों के साथ इसकी ऐतिहासिक संबद्धता का वर्णन शामिल है। लेखक ने अतुलनीय रूप से विशिष्ट सोने और चाँदी के आभूषण बनाने की परंपरा, इसके उत्पादन के विभिन्न चरणों, सुनारों और उनकी कारीगरी, प्रांत में कला की वर्तमान स्थिति, साथ ही साथ ब्रिटिश शासन के प्रभाव पर भी अध्यायों को सम्मिलित किया है। कला परंपरा का स्पष्ट प्रतिबिंब पेश करने के लिए पुस्तक में कई छायाचित्रों और चित्रों का उपयोग किया गया है। |
| dc.source | केंद्रीय सचिवालय ग्रंथागार |
| dc.format.extent | [ca. 20 p.] |
| dc.format.mimetype | Application/pdf |
| dc.language.iso | अंग्रेज़ी |
| dc.publisher | बंगाल सचिवालय पुस्तक डिपो, कलकत्ता |
| dc.subject | भारत में सोने और चाँदी की कारीगरी, ब्रिटिश भारत की अमूर्त सांस्कृतिक विरासत, ब्रिटिश भारत के सुनार |
| dc.type | दुर्लभ पुस्तक |
| dc.date.copyright | 1905 |
| dc.identifier.accessionnumber | AS-002126 |
| dc.format.medium | text |
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