अ लाइब्ररी ऑफ़ यूनिवर्सल लिटरेचर इन फ़ोर पार्ट्स कंप्रिज़िंग साइंस, बायोग्राफ़ी, फ़िक्शन एंड ग्रेट ओरेशंस
Author: इमैनुअल कांट
Keywords: इमैनुअल कांट, कारण, शुद्ध, दर्शनशास्त्र, ज्ञान, अतींद्रिय, समय, काल, तत्वमीमांसा
Issue Date: 1900
Publisher: न्यू यॉर्क, पी.एफ़. कॉलिएर
Description: जे एम डी मिकलजॉन ने इस जर्मन पुस्तक का अंग्रेज़ी में अनुवाद किया है। यह प्रमुख रूप से दर्शनशास्त्र के बारे में है। पुस्तक की शुरूआत में ’शुद्ध’ और ‘अनुभवजन्य’ ज्ञान, मानव बुद्धि, मानव ज्ञान की सीमा, आदि, के बारे में चर्चा है। पहला भाग ‘तत्वों के अतींद्रिय सिद्धांत’ के विचारों से संबंधित है और इसे दो खंडों में विभाजित किया गया है, अर्थात; ‘काल’ का 'और' समय का'। दूसरा भाग लंबा है और ‘अतींद्रिय तर्क’ के बारे में बात करता है और इसमें कई खंड और उपखंड हैं।
Type: तकनीकी रिपोर्ट
Received From: केंद्रीय सचिवालय ग्रंथागार
DC Field | Value |
dc.contributor.author | इमैनुअल कांट |
dc.date.accessioned | 2006-11-15T08:27:23Z 2018-05-31T01:03:58Z |
dc.date.available | 2006-11-15T08:27:23Z 2018-05-31T01:03:58Z |
dc.description | जे एम डी मिकलजॉन ने इस जर्मन पुस्तक का अंग्रेज़ी में अनुवाद किया है। यह प्रमुख रूप से दर्शनशास्त्र के बारे में है। पुस्तक की शुरूआत में ’शुद्ध’ और ‘अनुभवजन्य’ ज्ञान, मानव बुद्धि, मानव ज्ञान की सीमा, आदि, के बारे में चर्चा है। पहला भाग ‘तत्वों के अतींद्रिय सिद्धांत’ के विचारों से संबंधित है और इसे दो खंडों में विभाजित किया गया है, अर्थात; ‘काल’ का 'और' समय का'। दूसरा भाग लंबा है और ‘अतींद्रिय तर्क’ के बारे में बात करता है और इसमें कई खंड और उपखंड हैं। |
dc.date.issued | 1900 |
dc.description.sponsorship | Delhi Superintendent Government of India |
dc.format.extent | 27888851 bytes1832 bytes |
dc.format.mimetype | application/pdfapplication/pdftext/plain |
dc.language.iso | हिंदी |
dc.publisher | न्यू यॉर्क, पी.एफ़. कॉलिएर |
dc.relation.ispartofseries | 153.43 KAN - C |
dc.subject | इमैनुअल कांट, कारण, शुद्ध, दर्शनशास्त्र, ज्ञान, अतींद्रिय, समय, काल, तत्वमीमांसा |
dc.type | तकनीकी रिपोर्ट |
DC Field | Value |
dc.contributor.author | इमैनुअल कांट |
dc.date.accessioned | 2006-11-15T08:27:23Z 2018-05-31T01:03:58Z |
dc.date.available | 2006-11-15T08:27:23Z 2018-05-31T01:03:58Z |
dc.description | जे एम डी मिकलजॉन ने इस जर्मन पुस्तक का अंग्रेज़ी में अनुवाद किया है। यह प्रमुख रूप से दर्शनशास्त्र के बारे में है। पुस्तक की शुरूआत में ’शुद्ध’ और ‘अनुभवजन्य’ ज्ञान, मानव बुद्धि, मानव ज्ञान की सीमा, आदि, के बारे में चर्चा है। पहला भाग ‘तत्वों के अतींद्रिय सिद्धांत’ के विचारों से संबंधित है और इसे दो खंडों में विभाजित किया गया है, अर्थात; ‘काल’ का 'और' समय का'। दूसरा भाग लंबा है और ‘अतींद्रिय तर्क’ के बारे में बात करता है और इसमें कई खंड और उपखंड हैं। |
dc.date.issued | 1900 |
dc.description.sponsorship | Delhi Superintendent Government of India |
dc.format.extent | 27888851 bytes1832 bytes |
dc.format.mimetype | application/pdfapplication/pdftext/plain |
dc.language.iso | हिंदी |
dc.publisher | न्यू यॉर्क, पी.एफ़. कॉलिएर |
dc.relation.ispartofseries | 153.43 KAN - C |
dc.subject | इमैनुअल कांट, कारण, शुद्ध, दर्शनशास्त्र, ज्ञान, अतींद्रिय, समय, काल, तत्वमीमांसा |
dc.type | तकनीकी रिपोर्ट |